News Range Live—Just Now Posted By Er. Imran Siddiqui
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गोंडा में बिजली विभाग के संविदा कर्मी शनिवार को भी हड़ताल पर रहे। बिजली कर्मचारी संघ के रामकृपाल यादव और संविदा कर्मचारी संघ के मध्यांचल अध्यक्ष अरविन्द कुमार श्रीवास्तव ने समान कार्य के लिए समान वेतन देने की मांग की है। उन्होंने कहा कि हजारों संविदा कर्मचारी अपनी जान जोखिम में डाल कर दिन-रात काम करते हैं, फिर भी उन्हें मात्र आठ हजार रुपये मानदेय दिया जाता है, जबकि इसी विभाग में पूर्व सैनिक कल्याण निगम से आये हुए कार्मिकों को 20 हजार से अधिक का वेतन दिया जा रहा है। यह विसंगति खत्म होनी चाहिए।
गोंडा में बिजली कर्मचारियों की हड़ताल जारी:कहा- जान जोखिम में डालकर करते हैं काम, मानदेय के रूप में मिलता सिर्फ आठ हजार
गोंडा में बिजली विभाग के संविदा कर्मी शनिवार को भी हड़ताल पर रहे। बिजली कर्मचारी संघ के रामकृपाल यादव और संविदा कर्मचारी संघ के मध्यांचल अध्यक्ष अरविन्द कुमार श्रीवास्तव ने समान कार्य के लिए समान वेतन देने की मांग की है। उन्होंने कहा कि हजारों संविदा कर्मचारी अपनी जान जोखिम में डाल कर दिन-रात काम करते हैं, फिर भी उन्हें मात्र आठ हजार रुपये मानदेय दिया जाता है, जबकि इसी विभाग में पूर्व सैनिक कल्याण निगम से आये हुए कार्मिकों को 20 हजार से अधिक का वेतन दिया जा रहा है। यह विसंगति खत्म होनी चाहिए।
बिजली विभाग के मुख्य अभियंता के दफ्तर के बाहर विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति के बैनर तले धरने पर बैठे कर्मियों ने शनिवार को भी अपनी मांगों के समर्थन में प्रदर्शन किया। धरने की अध्यक्षता इंजीनियर संदीप यादव और संचालन नीरज तिवारी एवं सतीश गुप्ता ने किया। धरने को सम्बोधित करते हुए राज्य विद्युत परिषद जूनियर इंजीनियर संगठन के क्षेत्रीय अध्यक्ष इंजीनियर रामा जी ने कहा कि तीन दिसंबर को ऊर्जा मंत्री के साथ हुई संयुक्त संघर्ष समिति की बैठक में बिजली कर्मियों, अवर अभियन्ताओं के विभिन्न समस्याओं समेत 14 बिन्दुओं पर सहमति बनी थी। 15 दिन के भीतर इसे लागू करने का लिखित समझौता हुआ था, लेकिन प्रबन्धन में शीर्ष पदों पर बैठै अधिकारी समझौते के बिन्दुओं को मानने से इंकार कर रहे हैं।
राज्य विद्युत परिषद प्राविधिक कर्मचारी संघ के क्षेत्रीय सचिव नरेंद्र मिश्रा ने कहा कि कर्मचारी लोकतांत्रिक तरीके से अपने समस्याओं के समाधान और सरकार का ध्यानाकृष्ट करने के लिए हड़ताल पर हैं। सभा को सम्बोधित करते हुए इंजीनियर विकास यादव और इंजीनियर नवनीत सिंह ने कहा कि प्रबन्धन के हठधर्मिता के कारण प्रदेश के करोड़ों उपभोक्ता अंधेरे में रहने को विवश हैं।
धरने में इंजीनियर विकास शर्मा, सुभाष चन्द्र, नईयुमुद्दीन, पवन कुमार, तारकेश्वर गुप्ता, पंकज, आशीष, बाल किशन प्रजापति, सुरेश मौर्या, आध्या तिवारी, लाल मोहम्मद, विनोद कुमार, केडी वर्मा, परमानन्द पाण्डेय, बृजेन्द्र सिंह, रूपेश सोनी, फूलमती देवी, सुमित्रा देवी, सुषमा देवी, पुष्पा श्रीवास्तव, अंजली वर्मा और गीता सिंह आदि मौजूद रहे।